रायपुर7 घंटे पहले
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स्वामी आत्मानंद कोचिंग का शुभारंभ करते हुए सीएम भूपेश बघेल
छत्तीसगढ़ में जल्द PSC समेत बाकी प्रतियोगी परीक्षाओं की कोचिंग सरकार कराएगी। मंगलवार को नीट-JEE की ऑनलाइन मुफ्त कोचिंग के लिए स्वामी आत्मानंद कोचिंग की शुरुआत CM भूपेश बघेल ने की। इसी दौरान उन्होंने इसकी घोषणा की।
उन्होंने कहा कि, JEE की कोचिंग के बाद अब प्रतियोगी परीक्षा की कोचिंग सरकार कराएगी। JEE-NEET की कोचिंग पूरी तरह से ऑनलाइन होगी। इसके लिए 146 विकासखंड समेत 4 शहरों में सेंटर खोला जाएगा। जहां आवेदन के साथ बाकी प्रक्रिया बताई जाएगी। फिलहाल स्वामी आत्मानंद कोचिंग के माध्यम से छत्तीसगढ़ के छात्रों को नीट-जेईई की तैयारी करवाई जाएगी।
स्वामी आत्मानंद कोचिंग की शुरुआत हुई जिसमें वर्चुअली प्रदेश भर के छात्र जुड़े।
दसवीं में 60% पाने वाले बच्चे ही कर सकेंगे आवेदन
योजना के अनुसार दसवीं में 60% पाने वाले और 12वीं में पढाई करने विद्यार्थियों को ही कोचिंग दी जाएगी। 60% से कम अंक पाने वाले छात्र इसके लिए पात्र नहीं होंगे। कोचिंग राज्य शैक्षिक अनुसंधान और प्रशिक्षण परिषद के माध्यम से दी जाएगी। इस संबंध में लोक शिक्षण संचालनालय ने सभी जिला शिक्षा अधिकारियों के माध्यम से कोचिंग सेंटर की स्थापना कराई है साथ ही एडमिशन भी शुरू किया जा चुका है। 146 ब्लॉक के अलावा रायपुर, दुर्ग, बिलासपुर और कोरबा में कोचिंग सेंटर के माध्यम से प्री-मेडिकल और प्री-इंजीनियरिंग की कोचिंग दी जाएगी।
ऐसी होगी एडमिशन की प्रक्रिया
12वीं क्लास में पढाई करने वाले छात्र इसमें एडमिशन ले सकेंगे। छात्र अपने नजदीकी सेंटर में जाकर आवेदन कर सकेंगे। आवेदन के दौरान दसवीं की मार्कसीट अनिवार्य होगी। आवेदन के बाद सेंटर परसेंट के अनुसार बच्चों का चयन करेगा। एक सेंटर पर 50 जेईई और 50 नीट के छात्रों का चयन किया जाएगा। जीव विज्ञान और गणित संकाय में अध्ययनरत विद्यार्थी ही पात्र होंगे।
स्वामी आत्मानंद कोचिंग का शुभारंभ करते हुए सीएम भूपेश बघेल
दोपहर 3 बजे से 6.30 चलेगी कोचिंग
यह कक्षाएं शाम 3 बजे से 6.30 बजे तक संचालित होंगी। विद्यार्थियों का नियमित आकलन और शिक्षकों की कक्षाओं के अध्यापन का भी अवलोकन किया जाएगा। योजना के संबंध में पालकों का फीडबैक भी लिया जाएगा। ऑनलाइन कक्षाओं की यह विशेषता रहेगी कि यह टू-वे संवाद रहेगा। विद्यार्थी विषय विशेषज्ञों से प्रश्न पूछ सकेंगे। जेईई और नीट के लिए अलग-अलग कक्षाएं प्रदेश में संचालित आत्मानंद विद्यालय और अन्य विद्यालय में संचालित होंगी।
प्रत्येक कोचिंग केंद्र में भौतिक, रसायन, जीव विज्ञान और गणित विषय के लिए नोडल शिक्षक तथा एक मुख्य नोडल अधिकारी प्रिंसिपल अथवा सीनियर लेक्चरर स्टाफ के नियुक्त किए गए हैं। ऑनलाइन कोचिंग प्रदाता संस्थान विद्यार्थियों के रिपोर्ट कार्ड का विश्लेषण विद्यार्थियों का फीडबैक पालकों का फीडबैक इत्यादि इस कार्यक्रम की सघन मॉनिटरिंग हेतु मॉनिटरिंग अधिकारी भी नियुक्त किया जा रहे हैं।
सभी कलेक्टर्स और DEO को निर्देश जारी
मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने स्वतंत्रता दिवस के दिन इसका ऐलान किया था। कोचिंग की तैयारी को लेकर प्रदेश के हर जिले के कलेक्टर और जिला शिक्षा अधिकारी को निर्देश जारी कर दिए गए हैं। CM के ऐलान के मुताबिक शासकीय स्कूलों के 11वीं, 12वीं के विद्यार्थियों को इंजीनियरिंग और मेडिकल प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी करवाई जानी है।
क्या होगा लाभ
राज्य के विद्यार्थियों को इसका सीधा लाभ मिलेगा। स्कूल की पढ़ाई के दौरान वे देश की प्रतिष्ठित कोचिंग संस्थान से मेडिकल और इंजीनियरिंग एन्ट्रेंस एग्जाम की तैयारी कर पाएंगे। इस योजना से सबसे बड़ी राहत पालकों को आर्थिक रूप से मिलने वाली है क्योंकि टॉप इंस्टीट्यूशन एन्ट्रेंस एग्जाम की तैयारी के लिए एक से डेढ़ लाख रुपए तक फीस ली जाती है।
गांव में ही फैसिलिटी मिलेगी
ऑनलाइन कोचिंग व्यवस्था से बस्तर और सरगुजा संभाग जैसे सुदूर इलाकों के विद्यार्थी इसमें शामिल हो पाएंगे। इसके लिए उन्हें अपना गांव छोड़कर शहरों का रुख नहीं करना होगा। योजना से पढ़ाई का एक नया माहौल बनेगा। साथ ही राज्य निर्माण के बाद यह पहला मौका है जब प्रदेश के सरकारी स्कूल के बच्चे किसी ऑल इंडिया लेवल एग्जाम की तैयारी करेंगे।
भागीदारी बढ़ेगी
मजबूत तैयारी होने पर राज्य के ज्यादा से ज्यादा विद्यार्थी नेशनल लेवल पर आयोजित एग्जाम क्वालिफाई कर पाएंगे। मतलब देश के आईआईटी और एम्स में राज्य के विद्यार्थियों की भागीदारी बढ़ेगी।